इस लिए मुझे भी लगता है कि .... इन्द्रनिलजी... और बस…एक और हो जाए
आईये मै आपको इसकी सुन्दरता और कुछ ज़रूरी जानकारियों से रूबरू कराऊँ ।
हीरा - Diamond ग्रीक शब्द “adamas” से लिया गया है जिसका मतलब है “अटूट” ।
हीरा दुनिया का सबसे कठोर वस्तु है । हीरा दरअसल कार्बन (कोयला ) का शुद्धतम रूप है ।
हीरा पृथ्वी के गर्भ में ऐसी जगह बनता है जहाँ का ताप साधारणत २२०० डिग्री सेलसिअस और दबाव ५ गीगापास्कल होता है । ऐसी अवस्था ज़मीन से सामान्यतया १५० किलोमीटर के निचे होती है ।
व्यावसायिक रूप से हीरा ज्वालामुखी के स्फोटन से सबंधित खदानो से प्राप्त किया जाता है । जिसका प्रमुख उदहारण किम्बरले डीपोसिट (kimberlite and lamproite deposits) दक्षिण अफ्रीका है ।
इसके सिवा भी हीरे का एक और प्रकार है जिसे Black diamond या carbonado कहा जाता है और जो दक्षिण अमेरिका तथा अफ्रीका में पाया जाता है । माना जाता है कि उल्का पिंड / उल्कापात से बनता है ।
हीरे रंगहीन पारदर्शी या फिर अनेक रंगों में पाया जाते है । रंग कुछ रचना की त्रुटि (lattice defects) के कारण तथा कुछ रासायनिक अशुद्धता के कारण होता है ।
हमारे भूभाग पर सबसे ज्यादा ४९ % हीरे मध्य तथा दक्षिण अफ्रीका में पाए जाते है। इसके अलावा कनाडा, भारत, रशिया, ब्राजील और ऑस्ट्रेलिया में कई जगह पाए जाते है ।
भारत में पन्ना (मध्य प्रदेश) , कृष्णा, कडप्पा, गुंटूर, मोहब्बतनगर, अनंतपुर ( सब खदाने दक्षिण भारत में हैं) इत्यादि जगहों पे हीरे पाए जाते हैं। अभी भारत में सिर्फ एक हीरे का खदान क्रियाशील है जो मध्यप्रदेश के पन्ना में स्थित है ।
कुछ भारतीय प्रसिद्ध हीरे :
कोहिनूर – गोलकोंडा (आंध्रप्रदेश) के खदानों से प्राप्त किया गया था । कहा जाता है कि ये दुनिया का सबसे बड़ा हीरा था । इस का वजन उस वक्त १८६ केरेट था, जिसका आकार लगभग एक मुर्गी के अंडे के बराबर था । अभी इसका वजन १०५ केरेट (२१.६ ग्राम )है ।
Hope Diamond – दुनिया का सबसे प्रसिद्ध नीला हीरा माना जाता है जो कि गोलकोंडा के खदानों से प्राप्त किया गया है। आज हीरा अमेरिका का Natural History Museum में रखा गया है । इस हीरे को लेकर कई कहानियां प्रसिद्ध है । जिसमें कहा गया है कि हीरा देवी सीता के माथे से चुराया गया है और जो भी इसे छुता है या अपने पास रखने की कोशिश करता है उसका सर्वनाश होता है।
Regent Diamond – यह एक प्रसिद्ध पारदर्शी हीरा है जो १४०.६४ केरेट का है और अभी फ्रांस के पास है । यह हीरा भी गोलकोंडा के खदानों से प्राप्त किया है ।
Sancy Diamond - यह हलके पीले रंग का हीरा गोलकोंडा के खदानों से प्राप्त किया गया ! यह हीरा मुघलों के पास था । अभी ये हीरा फ्रांस के पास है ।
The Florentine Diamond – हलके पीले रंग का १३७ केरेट का हीरा है जो गोलकोंडा के खदानों से प्राप्त किया गया था ।
उपयोगिता : रत्न के सिवा हीरे को बहुत सी व्यावसायिक प्रक्रिया में उपयोग किया जाता है ।हीरा दुनिया का सबसे कठोर वस्तु है । इसकी कठोरता (hardness) की वजह से इसे उद्योगों में पीसने या रगड़ने की वस्तु (abrasive ) तथा काटने के औजार (diamond drills, Blades ) के हिसाब से उपयोगिता में लाया जाता है। हीरे का उपयोग क्ष-किरण (X -Ray ) मशीन, कर्क रोग उपचार, प्रसाधन सामग्री इत्यादि में होता है ।
हीरा खरीदने से पहले इन ४ बातों का ध्यान रखना चाहिए, हालाँकि आज कल एक पांचवी बात भी ज़रूरी हो गई है ।
ये चार बातें हैं वो जिसे Diamond 4C बोला जाता है:
· Cut / काटने का ढंग
· Clarity / स्पष्टता
· Color / रंग
· Carat weight / कैरट/ रत्ती
और जो सब से जरुरी पांचवी बात है, वो है – Certificates यानि कि प्रमाणपत्र
इस के बारे में आप यहाँ पर विस्तार से पढ़ पाएंगे
http://www.thediamondbuyingguide.com/fourcsofdiamonds.html
http://en.wikipedia.org/wiki/Diamond
heeron ke bare men bahut achhi jankari ,dhanyvad
ReplyDeleteहीरों के बारे में बढ़िया जानकारी दी है ...वैसे हमारे मध्यप्रदेश के पन्ना जिले में आज भी हीरे बहुतायत से मिलते है ..जो अच्छी क्वालिटी के होते हैं ... आभार
ReplyDeleteहीरा के बारे में आपके द्वारा दी गई जानकारी अच्छी लगी।
ReplyDeleteयह सदा के लिए संजो कर रखने लायक है।
इस अनोखी जानकारी के लिए धन्यवाद।
डॉ तृप्ति जी ,
ReplyDeleteहीरे के बारे में इतनी विस्तृत जानकारी ....?
शायद आपके पेशे से जुड़ा है ये विवरण ....
कभी अपने व्यवसाय का भी ज़िक्र कीजिये न ...
और हाँ ....इन्द्रनील जी की पोट्रेट की तस्वीर को
उनके नाम के साथ ब्लॉग के साइड में कहीं लगा दें ...
पर प्रोफाईल में अपनी सही तस्वीर लगायें ...
@Sunil Kumar, महेन्द्र मिश्र, mahendra verma
ReplyDeleteआप सभी का धन्यवाद ....
@हरकीरत ' हीर'
ReplyDeleteहाँ दीदी, ये जानकारी मेरे पेशे से जुडी है ... मैं पेशे से भूवैज्ञानिक हू ... मैं जरुर इस बारे में एक पोस्ट दूंगी....
रही बात तस्वीर की तो मैंने आपको पहले ही कहा है कि इस स्टेंसिल को बनाने में इन्द्रनीलजी ने बहुत मेहनत की है... उनका प्यार मेरे लिए इसमें बहुत झलकता है ..... सो फिलहल तो इस तस्वीर को मै नहीं निकालूंगी पर आपका सुझाव बहुत अच्छा है
मेरे जैसे के लिए तो आपकी ये पोस्ट महत्वपूर्ण सन्दर्भ से कम नहीं है.
ReplyDeleteहीरे के बारे में एक ही जगह इतनी और दुर्लभ जानकारी पाना बहुत ही अच्छा लगा.
सादर
बहुत सुन्दर जानकारी दी है आपने| ये कैरेट की गणना कैसे की जाती है इस पर भी प्रकाश डालिए|और हां हीरा कठोर होता है कठिन नहीं|
ReplyDeleteइस अनोखी जानकारी के लिए धन्यवाद।
ReplyDeleteसारे बड़े हीरे गोलकण्डा से आये, अब गोलकण्डा के क्या हाल हैं।
ReplyDeleteलाभकारी पोस्ट.इस जानकारी के लिए धन्यवाद।
ReplyDelete@ राणा प्रताप सिंह जी
ReplyDeleteगलती की तरफ ध्यान दिलाने के लिए धन्यवाद ... सुधार कर दी गई है ...
कैरेट के बारे में विस्तृत जानकारी के लिए आप कृपया उपरोक्त लिंक में देखिये ...
@ प्रवीण पाण्डेय
ReplyDeleteऐतिहासिक समय से ही गोलकोंडा के आसपास के खदानों से हीरे निकाले जाते थे ... पर धीरे धीरे ये सब खदान बंद हो गए ... अब तो सबसे ज्यादा हीरा अफ्रीका के देशों में मिलता है ... भारत में अभी पन्ना में हीरे उत्खनन किये जाते हैं ...
बड़ी महंगी चीज़ों की जानकारी दी है जी...गोलकुंडा तो छा गया
ReplyDeleteडॉ तृप्ति जी ,
ReplyDeleteआपकी जानकारी बहुत लाभदायक है ....देख लिए हीरे ..और बहुत तरह जान लिया उनके बारे में ....आपका शुक्रिया ...
indranil ...... heera upasthit kiya jaye , kyonki hai sada ke liye aur soch samajh ke asli heera , tripti ko sab pata hai
ReplyDeleterochak jaankari
ReplyDeleteकई नई जानकारियां मिली हीरे के विषय में .... विस्तार से बताने के लिए आभार
ReplyDeleteknowledge
ReplyDeletein
abundance ....
wow !!
जब पहली बार जाना था कि हीरा कोयले का ही एक रूप है, बहुत हैरत हुई थी। लेकिन ये सच है, दबाव ही है न वो चीज जो कोयले को भी हीरे में बदल सकता है और कांच को चूर चूर कर देता है।
ReplyDeleteरोचक तरीके से आपने हीरे के बारे में जानकारी दी है, शुक्रिया।
हीरे के बारे में वृस्तित जानकारी ..उम्दा पोस्ट ..आपके व्यवसाय से भी जूडी हो... किन्तु सोच रही हूँ ये गोलकुंडा से निकले बेशकीमती हीरे अपने देश में ना हो कर विदेशों की शोभा बड़ा रहें है... ऐसा क्यूं ... ( भारत की नाकाबिलियत जाहिर होती है.. चाहे इतिहास में ही हो ...)
ReplyDeleteतृप्ति जी , बहुत ही अच्छी एवम जानकारी परक पोस्ट. हीरे के बारे में इनती सुंदर जानकारी देने के लिये आभार.
ReplyDeleteहीरे के बारे में इतनी विस्तृत जानकारी !
ReplyDeleteहीरे के बारे में अद्भुत जानकारी देने के लिए शुक्रिया .
ReplyDeleteबहुत बढ़िया लिखती हैं आप
डॉ तृप्ति जी ,
ReplyDeleteसादर
हीरे की चमक पुनः खींच लायी यहाँ ...अब तो सब कुछ सही से समझ लिया ...आपका आभार
मेरे ब्लॉग का अनुसरण करने के लिए आपका तहे दिल से धन्यवाद ...आशा है आप अपना आशीर्वाद हमेशा बनाये रखेंगी ...शुक्रिया
हीरे के बारे में विस्तृत जानकारी मिली !
ReplyDeleteधन्यवाद
ब्लॉग जगत में एक और जियोलॉजिस्ट से मिल अच्छा लगा. महत्त्वपूर्ण जानकारी सरल शैली में दी है आपने. शुभकामनाएं.
ReplyDeleteहीरे के बारे में इतनी विस्तृत जानकारी दी आपने .ज्ञानवर्धक है
ReplyDeleteलाभकारी पोस्ट.इस जानकारी के लिए धन्यवाद।
ReplyDeleteinformative and educative blog yes i like it
ReplyDeleteडॉ तृप्ति जी ,
ReplyDeleteहीरे के बारे में इतनी विस्तृत जानकारी ...
इस जानकारी के लिए धन्यवाद
..
achchhi post par labhkari nahi..:D
ReplyDeletekyunki heera kharidne ki hasiyat nahi hai..:D
aur agar hui to bata den...kohinoor heera kahan milega...apni shrimati ko dena hai...........:P
विस्तृत ज्ञानवर्धक जानकारी के लिए धन्यवाद।
ReplyDeleteजानकारी अच्छी लगी धन्यवाद.
ReplyDeleteएक अच्छा लेख और बढ़िया जानकारी के लिए आभार ! मशहूर हीरों की आज की कीमत आनुमानित कीमत भी लेख देतीं तो और रुचिकर लगता !! शुभकामनायें !!
ReplyDeletevery nice. thanks!
ReplyDeleteWow! It's a wonderful post on/about diamonds. I guess you forgot to include Cullinan diamond.
ReplyDeletebahut khoob
ReplyDeleteand you gave a good information about diamond
nice blog
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